नव चेतना और चारु फाउंडेशन दिव्यांग बच्चों को बना रही आत्मनिर्भर
एक दर्जन दिव्यांग बच्चें रक्षाबंधन के लिए तैयार कर रहे रंग बिरंगी राखियां
5000 राखियां बनाने का लक्ष्य कार सेवादल राखियों की मार्किट कर जुटाएगे धनराशि
न्यूज मिशन
कुल्लू
कुल्लू जिला में नव चेतना फाऊंडेशन और चारों फाउंडेशन के माध्यम से दिव्यांग जनों को समाज की मुख्य धारा में शामिल करने और आत्मनिर्भर बनाने के लिए लगातार प्रयास किया जा रहा है इसी कड़ी में नवचेतना संस्था और चारों फाउंडेशन के द्वारा दिव्यांग बच्चों को वोकेशनल ट्रेनिंग के माध्यम से आत्मनिर्भर बनाया जा रहा है। दर्जनों दिव्यांग बच्चे रक्षाबंधन के त्यौहार के लिए रंग-बिरंगी राखियां तैयार कर रहे हैं। हर साल रक्षाबंधन पर दिव्यांग बच्चों के द्वारा बनाई राखियों की डिमांड रहती है ऐसे में लोगों के द्वारा भी दिव्यांग बच्चों के मनोबल को बढ़ाने और आत्मनिर्भर बनाने के लिए सहयोग दे रहे हैं।
नव चेतना फाऊंडेशन के सचिव शेरु राम ने कहा कि गत वर्ष की भांति इस वर्ष भी नवचेतना स्कूल के द्वारा चारों फाउंडेशन के सहयोग से राखियां तैयार की जा रही है उन्होंने कहा कि करीब एक दर्जन दिव्यांग बच्चों के द्वारा रंग-बिरंगी राखियां बनाई जा रही है उन्होंने कहा कि इस वर्ष 5000 राख्या बनाने का लक्ष्य लिया है जिनमें से 2500 राखियां दिव्यांग बच्चों ने तैयार की है उन्होंने कहा कि अभी रक्षाबंधन के लिए 20 दिन है ऐसे में लोग दिव्यांग बच्चों के द्वारा बनाई राखियां खरीदे ताकि दिव्यांग बच्चों को आत्मनिर्भर बनाने के लिए जनता का सहयोग जरूरी है। उन्होंने कहा कि आने वाले समय में जगह-जगह पर स्टॉल लगाकर राखियां बेची जाएगी। उन्होंने कहा कि संस्था में 40 बच्चे लगातार विभिन्न प्रकार की एक्टिविटीज में वोकेशनल ट्रेनिंग कर आत्मनिर्भर बन रहे हैं उन्होंने कहा कि संस्था के द्वारा बच्चों को पढ़ाई के साथ साथ कैंडल लिफाफे और राखियां बना रहे हैं और इसके अलावा कुछ सिलाई और खड्डीयों में भी उत्पाद तैयार करने की ट्रेनिंग कर रहे हैं
वोकेशनल टीचर संतोष कुमारी ने कहा कि नवचेतना और चारों फाउंडेशन के द्वारा विशेष बच्चों के लिए विभिन्न प्रकार की ट्रेनिंग दी जा रही है उन्होंने कहा कि रक्षाबंधन के त्यौहार के लिए विशेष बच्चे रंग-बिरंगी राखियां प्यार कर रहे हैं उन्होंने कहा कि हर साल की भांति इस साल भी विशेष बच्चे हजारों राष्ट्रीय भाई-बहन के पवित्र रिश्ता रक्षाबंधन के लिए तैयार कर रहे है। उन्होंने कहा कि दिव्यांग बच्चों को आत्मनिर्भर बनाने के लिए प्रयास कर रहे हैं उन्होंने कहा कि रक्षाबंधन पर लोग दिव्यांग बच्चों के द्वारा बनाई राखियों को खरीद कर उनका सहयोग करें।