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शिशु रोग विशेषज्ञ न होन से बीमार छोटे बच्चों को नैरचैक मेडिकल कॉलेज किया जा रहा रैफर-गोदावरी देवी

सरकार बिशेषज्ञ डाक्टरों की कमी पूरा कर जनता को बेहतर स्वास्थ्य सुविधाए मुहैया करवाए

शिशु रोग विशेषज्ञ न होन से बीमार छोटे बच्चों को नैरचैक मेडिकल कॉलेज किया जा रहा रैफर-गोदावरी देवी

कहा- तेगुबेहड़ अस्पताल में भी नहीं शिशु रोग बिशेषज्ञ डाक्टर नहीं

सरकार बिशेषज्ञ डाक्टरों की कमी पूरा कर जनता को बेहतर स्वास्थ्य सुविधाए मुहैया करवाए

न्यूज मिशन

कुल्लू
कुल्लू क्षेत्रीय असप्ताल  में शिशु रोग बिशेषज्ञ, स्त्री रोग बिशेषज्ञ और रेडियोलॉजिस्ट डाक्टर की कमी के कारण , रेडियोलाजिस्ट पिछले आठ महीनों से नहीं है, जिस कारण लोगों को खासकर गर्भवती महिलाओं को अतिरिक्त पैसे देकर अल्ट्रासाउंड करवाना पड़ रहा है, जिसको लेकर लोगों में सरकार के खिलाफ रोष है. यहां से मरीजों को नैरचैक मेडिकल कॉलेज रेफर किया जाता है कुल्लू और मनाली की बड़ी आबादी अस्पताल पर निर्भर है-स्थानीय युवती हिमानी ने बताया कि आम जनता जो शोषित हो रही है उसका जिम्मेदार कौन है, उन्होंने कहा कि आज अस्पताल यहां से एक बच्चे को नेर चैक के लिए रेफर किया है क्योंकि कुल्लू अस्पताल में शिशु रोग विशेषज्ञ न होने के कारण उन्हें यहां से रेफर किया है और बच्चे को एंबुलेंस की सुविधा भी उपलब्ध नहीं हो पा रही है अगर बीच रास्ते में अगर बच्चे को कुछ हो जाता है तो उसकी जिम्मेदार कौन होगा और असपताल में महिलाएं तीन 3 घंटे लाइनों में खड़ी है उन्होंने कहा कि एक महिला बेचारी उसे तेगूवेहड़़ अस्पताल से कुल्लू अस्पताल के लिए रेफर किया तो वही यहां से उसे भी नेर चैक अस्पताल के लिए रेफर किया गया है। क्योंकि यहां पर शिशु रोग विशेषज्ञ नहीं है उन्होंने कहा कि यहां पर नेता लोग आते हैं और बोल कर चले जाते हैं, उन्होंने कहा कि प्रदेश के मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर और उनकी राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा कुल्लू पहुंच रहे हैं क्या उनसे पूछने वाला कोई नहीं है कि कुल्लू असपताल की अव्यवस्था क्यों ठीक नहीं होती। उन्होंने कहा कि एक आम जनता के नाते कहती हॅु कि आम जनमानस के साथ बहुत गलत हो रहा है राजनैतिक से अस्पतालों को क्यों जोड़ा जा रहा है। अस्पताल में हर जगह के लोग आते हैं उन्होंने कहा कि नेता अपनी आंखें खोल कर स्वयं ही अस्पताल में आकर देखें कि यहां पर कहां कहां के लोग आते हैं। लोगों के साथ आम जनमानस के साथ ऐसा भेदभाव क्यों किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि आम जनता ही आप लोगों को नेता बनाते हैं और आप आम जनता के लोगों के साथ इस प्रकार का भेदभाव कर रहे हैं। जो कि बहुत ही निंदनीय है उन्होंने कहा कि जो लोग इसके लिए खड़े हो रहे हैं उनके लिए भी गाली गलौज करते हैं और भेड़ चाल का नाम देते हैं उन्होंने कहा कि सोशल मीडिया पर भी देख कर हैरान हो जाते हैं जो लोग आम जनता का सहयोग दे रहे हैं उन्हें भी फाइंड आउट किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि वे लोग क्यों कुछ नहीं करते अगर वे लोग खड़े होते तो आम जनता यहां पर क्यों धरना देती। उन्होंने कहा कि जब तक आप लोग नहीं करते तो आम जनता को मजबूरन ही इस प्रकार के धरने प्रदर्शन करने पड़ रहें हैं उन्होंने कहा कि बड़े पोस्टर लगाने से और रैलियां निकालने से आम जनता का कुछ होता है तो तो बहुत अच्छी बात है आम जनता को शोषित ना करें आम जनता बहुत ही परेशान होती है उन्होंने कहा कि जिसके घर में खाना बड़ी मुश्किल से बनता है वह क्या निजी अस्पताल में जाकर ₹300 की पर्ची काट सकता है मनरेगा की दिहाड़ी भी उतनी नहीं मिल पाती है उन्होंने कहा कि उन्होंने कहा कि टेस्ट करने के लिए भी लोगों को निजी अस्पतालों का रुख करना पड़ता है ऐसे में कहां से गरीब आदमी टेस्ट करवा सकता है उन्होंने कहा कि इस अस्पताल में अल्ट्रासाउंड भी नहीं करवाए जा रहे हैं जो कि महिलाओं के लिए अति आवश्यक है लेकिन यहां पर कोई भी सुविधा नहीं है उन्होंने कहा कि यहां पर नेता मेडिकल कॉलेज की बात कर रहे हैं पहले यहां पर डॉक्टर तो लाए उसके बाद मेडिकल कॉलेज के बारे में सोचेंगे उन्होंने कहा कि यह बोल सकते हैं कर कोई नहीं सकता है उन्होंने सरकार से आग्रह किया है कि जल्द से जल्द डॉक्टरों की भर्ती कर दें जिससे की आम जनता परेशान ना हों
भुंतर सेरी बेहड़ गांव की स्थानीय महिला गोदावरी ने कहाकि उनकी बच्ची डेढ माह  बीमार है ऐसे में गरीब परिवार होने के कारण बच्ची का ईलाज करवाने में दिक्कतें हो रही है। उन्होंने कहाकि बच्ची को खांसी बुखार है और यहां पर  बच्चों के डाक्टर नहीं है ऐसे में पहले तेगुबेहड़  अस्पताल में भी ईलाज के लिए गए थे लेकिन वहां पर भी डाक्टर नहीं मिले।उन्होंने कहाकि वो गरीब है ऐसे में प्राईवेट अस्पताल में ईलाज नहीं करवा सकते है।उन्होंने कहाकि सरकार क्षेत्रीय असप्ताल में शिशु रोग बिशेषज्ञ डाक्टरों की भर्ती करें ताकि छोटे बच्चों को ईलाज करवाने में मदद मिल सके।चिकित्सा अधीक्षक डॉ नरेश ने बताया कि कुल्लू क्षेत्र अस्पताल में कुल 37 पोस्ट डॉक्टरों की है मेडिकल ऑफिसर की उसमें स्पेशलिस्ट और एमबीबीएस आते हैं उन्होंने कहा कि आज एक मेडिकल डॉक्टर ने ज्वाइन किया है जिसको कुल मिलाकर 31 हैं, 6 पोस्ट खाली है, जिनमें से 14 डॉक्टर स्पेशलिस्ट है 17 एमबीबीएस डॉक्टर है। उन्होंने कहा कि उन्होंने कहा कि रेडियोलॉजिस्ट की पोस्ट खाली है, चाइल्ड स्पेशलिस्ट की पोस्ट भी खाली है।सर्जन 2 हैं, ओर्थों के 3 है,गायनोलाजस्ट 2 है 1 लांग लीव पर हैं, एनएसथिजिज 2 हैं पर 1 लीव पर हैं, नगर से एमबीबीएस डॉक्टर ने ज्वाइंन किया हैं , सरकार ने जिन 3 डाक्टरों ने भर्ती की थी उन्होने अभी ज्वाईन नहीं किया हैं

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